Шри Рамачаритаманас с Значением в хинди - Гит Пресс
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Имя | Shri Ramcharitmanas Gitapress |
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Версия | 0.0.1 |
Обновить | 03 сент. 2017 г. |
Размер | 6 MB |
Категория | Книги и справочники |
Количество установок | 50тыс.+ |
Разработчик | N Narendra |
Android OS | Android 4.4W+ |
Google Play ID | org.spiritualseeker.ramacharitmanas |
Shri Ramcharitmanas Gitapress · Описание
Shri Рамачаритаманас самого превосходная часть работы в хинди литературе, написанных Госвами Тулсидаса, является прекрасным образцом идеальных обязанностей суверенной, идеальной жизни домохозяина, идеальной супружеской жизни и других идеальных прав человека. Это совершенно невозможно найти какое-то другое литературное произведение в мире, который содержит высокий уровень преданности, знания, отречения, бесстрастие и т.д. благоговейно декламацию стихов этой книги, и действуя по поручению, как указано в книге делает человек в состоянии чтобы достичь божественного блаженства. Порядок декламации стихов, краткая биография Госвами Ji и Аарти были даны во всех изданиях Шри Рамачаритаманаса.
श्री गोस्वामी तुलसीदास जी महाराज के द्वारा प्रणीत श्रीरामचरितमानस हिन्दी साहित्य की सर्वोत्कृष्ट रचना है. आदर्श राजधर्म, आदर्श गृहस्थ-जीवन, आदर्श पारिवारिक जीवन आदि मानव-धर्म के सर्वोत्कृष्ट आदर्शों का यह अनुपम आगार है. सर्वोच्य भक्ति, ज्ञान, त्याग, वैराग्य तथा भगवान की आदर्श मानव-लीला तथा गुण, प्रभाव को व्यक्त करनेवाला ऐसा ग्रंथरत्न संसार की किसी भाषा में मिलना असम्भव है. आशिर्वादात्माक ग्रन्थ होने के कारण सभी लोग मंत्रवत् आदर करते हैं. इसका श्रद्धापूर्वक पाठ करने से एवं इसके उपदेशों के अनुरूप आचरण करने से मानवमात्र के कल्याण के साथ भगवत्प्रेम की सहज ही प्राप्ति सम्भव है. श्रीरामचरितमानस के सभी संस्करणों में पाठ-विधि के साथ नवान्ह और मासपरायण के विश्रामस्थान, गोस्वामी जी की संक्षिप्त जीवनी, श्रीरामशलाका प्रश्नावली तथा अंत में रामायण जी की आरती दी गयी है.
श्री गोस्वामी तुलसीदास जी महाराज के द्वारा प्रणीत श्रीरामचरितमानस हिन्दी साहित्य की सर्वोत्कृष्ट रचना है. आदर्श राजधर्म, आदर्श गृहस्थ-जीवन, आदर्श पारिवारिक जीवन आदि मानव-धर्म के सर्वोत्कृष्ट आदर्शों का यह अनुपम आगार है. सर्वोच्य भक्ति, ज्ञान, त्याग, वैराग्य तथा भगवान की आदर्श मानव-लीला तथा गुण, प्रभाव को व्यक्त करनेवाला ऐसा ग्रंथरत्न संसार की किसी भाषा में मिलना असम्भव है. आशिर्वादात्माक ग्रन्थ होने के कारण सभी लोग मंत्रवत् आदर करते हैं. इसका श्रद्धापूर्वक पाठ करने से एवं इसके उपदेशों के अनुरूप आचरण करने से मानवमात्र के कल्याण के साथ भगवत्प्रेम की सहज ही प्राप्ति सम्भव है. श्रीरामचरितमानस के सभी संस्करणों में पाठ-विधि के साथ नवान्ह और मासपरायण के विश्रामस्थान, गोस्वामी जी की संक्षिप्त जीवनी, श्रीरामशलाका प्रश्नावली तथा अंत में रामायण जी की आरती दी गयी है.